एल० सी० डी० का अर्थ, विशेषताएँ, उपयोगिता एवं सीमाएँ | Liquid Crystal Display (LCD) in hindi

एल० सी० डी० (L.C.D.)

आजकल स्मार्ट क्लास का चलन जोरों पर है जिसमें श्रव्य दृश्य सामग्री हेतु नवीनतम तकनीकी क प्रयोग बहुतायत किया जाता है। LCD एक इसी प्रकार का उपकरण जिसके द्वारा श्रव्य एवं दृश्य दोनों श्रेणियों की सामग्री को आसानी से देखा एवं समझा जा सकता है। LCD प्रचलित टी० वी० का एक अत्याधुनिक रूप है जिसमें तस्वीरें अधिक स्पष्ट रूप से दिखाई पड़ती है। इसमें दृश्यों का संचालन पेन ड्राइव के माध्यम से भी किया जा सकता है। इन्हें Flat Panel Moniter भी कहा जाता है। LCD में LED की अपेक्षा कम बिजली व्यय होती है।

Liquid Crystal Display (LCD) in hindi

डेस्कटॉप कम्प्यूटर का जब तक युग था तब तक CRT तकनीक पर आधारित मॉनीटर कम्प्यूटर सिस्टम की जरूरतें पूरी करते थे। (डेस्कटॉप कम्प्यूटर आकार में बड़े तथा वजन में 'मारी होते हैं. इन्हें एक ही स्थान पर रखकर कार्य किया जाता है, जैसे-पर्सनल कम्प्यूटर मेनफ्रेम, आदि)। पोर्टेबल कम्प्यूटर जैसे लैपटॉप के आगमन के बाद CRT स्क्रीन के साथ अनेक समस्या सामने आई; जैसे- अपने बड़े आकार एवं अधिक वजन।

लैपटॉप कम्प्यूटर, नोटपैड, डिजिटल डायरी, कैल्कुलेटर आदि की स्क्रीन चपटी तथा पतली रहती हैं। अतएव इसे फ्लैट स्क्रीन (Flat Screen) भी कहते हैं। इस तकनीक से बनी स्क्रीन में दो पीस होते हैं, इन दोनों कांच के पीस के मध्य छोटी-छोटी पाकिट महीन तारों से घिरा रहती है। जब इन तारों में बहुत कम मान की विद्युत धारा प्रवाहित की जाती है, तो इन पॉकेट में विद्युत क्षेत्र (Electric Field) उत्पन्न हो जाता है, जिसके फलस्वरूप पॉकेट में भरे तरल क्रिस्टल में रासायनिक क्रियाएँ होती है और वह चमक उठता है। अधिकांश मॉनीटर 800x600 pixels के होते हैं। इनके अतिरिक्त 1024x768 pixels या 1280x1024 pixels के भी मॉनीटर होते हैं।

सार रूप में कहा जाए तो इस प्रकार हजारो पॉकेट में अलग-अलग तीव्रता व रंग का प्रकाश उत्पन कर स्क्रीन पर छवि बनाई जाती है।

एल० सी० डी० का अर्थ

एल० सी० डी० का शाब्दिक अर्थ लिक्विड क्रिस्टल डिस्प्ले (Liquid Crystal Display) होता है.

एल० सी० डी० की विशेषताएँ (Characteristics of LCD)

LCD की बहुत विशेषताएँ निम्न है-

  1. एलसीडी दो पदार्थो से मिलकर बानी रहती है तरल Liquid और Solid पदार्थो से।
  2. एक एलसीडी की ये सबसे बड़ी विशेषताएँ होती है की वह अपने ऑपरेशन के दौरान बहुत ही कम बिजली की खपत करती है।
  3. हलाकि ये devices CRT Monitor से महंगी होती है परन्तु इनकी picture quality बहुत ही उत्तम स्तर की होती है।
  4. ये इतनी पतली और वजन में कम होती है की इन्हे आसानी से कही भी लाया व ले जाया सकता है।

LCD के उपयोग (Uses of LCD)

  1. पावर पॉइन्ट प्रस्तुतीकरण LCD के माध्यम से शिक्षक के व्याख्या को प्रभावशाली बनाता है।
  2. शिक्षक कक्षा में वीडियो दिखाने हेतु LCD प्रोजेक्टर का प्रयोग करते हैं, जैसे You Tube डॉक्यूमेंटरी या DVD पर फिल्म का प्रदर्शन।
  3. LCD परंपरागत फिल्म प्रोजेक्टर का सम्बन्धित स्वरूप है।
  4. LCD का प्रयोग Quizzes तथा Attendance में होता है।
  5. Webcasts तथा Webinars शिक्षकों को दूर से ही भाग लेने एवं सीखने में मदद करते हैं।
  6. LCD का प्रयोग प्रदर्शन कार्य हेतु प्रभावी ढंग से किया जा सकता है। उदाहरणार्थ-एक अंग्रेजी का शिक्षक किसी उपन्यास के पृष्ठ आसानी से दिखा सकता है।
  7. छात्र रुचिपूर्ण तरीके से कक्षा कार्यों में संलग्न रहते है।
  8. इसके द्वारा विषय-वस्तु को आसानी से देख, सुना व समझा जा सकता है।
  9. अन्य टी० वी० सेटों की अपेक्षाकृत इसका संचालन सुगम है।
  10. इसमें चित्र स्पष्ट, सुन्दर व आवाज सुस्पष्ट आती है।
  11. इसमें दृश्य सजीवता लिए हुए आकर्षक प्रतीत होती है।
  12. इसमें किसी विशिष्ट दृश्य को रोककर या उसे बड़ा करके या चिन्हित करके आसानी से देखा जा सकता है।
  13. यह अपेक्षाकृत हल्का होने के कारण कहीं भी आसानी से रखा जा सकता है।

सीमाएँ (Limitations)

इसके प्रयोग से कुछ कठिनाइयाँ भी हैं जो निम्न हैं-

  1. इसमें बिजली की समुचित व्यवस्था करनी पड़ती है।
  2. यह दूसरे टी०वी० सेटों की अपेक्षा अधिक महंगा पड़ता है।
  3. सेट खराब हो जाने पर विशेषज्ञता पर निर्भर रहना पड़ता है।
  4. जब सूर्य का तेज प्रकाश इस पर पड़ता है तो ये ठीक प्रकार से डिस्प्ले नहीं करता है।

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